सरल सत्यार्थ प्रकाश
कथा शैली में विरचित ‘बाल सत्यार्थ प्रकाश’ ग्रन्थ ऋषिवर दयानन्द के अमर ग्रन्थ सत्यार्थ प्रकाश को जन सामान्य तक पहुंचाने वाला उत्तम माध्यम सिद्ध हुआ है। स्वर्गीय वेद प्रकाश जी सुमन द्वारा इस ग्रन्थ का प्रणयन कलम के धनी अपने पिता श्री आचार्य प्रेम भिक्षु जी के निर्देशन में किया गया इससे इस ग्रन्थ की उपयोगिता द्विगुणित हो गयी है। आर्य जगत् में इस ग्रन्थ की आशा से अधिक मांग रही है।
आशा और विश्वास है सत्यार्थ प्रकाश की अमूल्य शिक्षायें इस ‘बाल सत्यार्थ प्रकाश’ नामक ग्रन्थ के माध्यम से बालकों व जन सामान्य में पहुंचेंगी जिससे व्यक्ति परिवार, समाज व राष्ट्र में नई धार्मिक चेतना का संचार होगा।
‘सत्यार्थ प्रकाश की उत्तम शिक्षा फैल जाय घर-घर में।
बाल-सत्यार्थ प्रकाश आपको देता हूँ, शुभ कर में।’
from Tumblr http://ift.tt/1NwfiaE
via IFTTT
No comments:
Post a Comment